आज दुनिया की महाशक्ति अमेरिका कोरोनावायरस की महामारी से सबसे ज्यादा संक्रमित है। अमेरिका में संक्रमण पिछले कई दिनों से फैला हुआ है। 8 हजार से भी अधिक लोग अपनी जान गवा चुके हैं। अमेरिका में कोरोनावायरस को गंभीरता से नहीं लिया गया जिसका परिणाम देखने को मिल रहा है। आज भी लोग मास्क पहनने पर जो नहीं दे रहे। लोगों की इच्छा पर निर्भर है कि उन्हें मास्क पहनना है। अमेरिकी प्रधानमंत्री ने लोगों से कोई अपील नहीं की। अमेरिका में नेशनल इंस्टिट्यूट ऑफ एनर्जी एंड इनफेक्शयस डिजिजेज के डायरेक्टर डॉक्टर एस एंथनी एस फौसी ने अमेरिका के राष्ट्रपति को सुझाव दिया था कि देश में स्टे अट होम जारी किया जाए। अमेरिकी राष्ट्रपति ट्रंप ने उनके सुझाव को नहीं माना। राज्यों पर छोड़ दिया कि वह अपने हिसाब से आदेश लागू करें। जिसका नतीजा आज अमेरिका को भुगतना पड़ रहा है।
अमेरिका में वेंटिलेटर की स्थिति
अमेरिका में 2109 वेंटीलेटर्स खराब पड़े हुए हैं। कई राज्यों में उपकरणों की कमी देखने को मिल रही है। राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने अमेरिका के लोगों को विश्वास दिलाया है कि उनके पास पर्याप्त वेंटिलेटर हैं। न्यूयॉर्क टाइम्स की रिपोर्ट से पता लगा है कि वेंटिलेटर के रखरखाव की जिम्मेदारी का करार पिछले साल ही खत्म हो गया था। नई कंपनी ने वेंटिलेटर को लेकर काम नहीं किया था। स्वास्थ विभाग स्टॉक को मेंटेन करने में सही तरीके से काम नहीं कर रहा। राष्ट्रपति ट्रंप ने तो दूसरे देशों को भी वेंटीलेटर्स देने की बात कही है।
कोरोना वायरस के कारण हवाई सफर प्रभावित
राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने कोरोनावायरस के बढ़ते मामलों को लेकर कई घरेलू उड़ानें रद्द कर दी हैं। अमेरिका में ट्रेनों के सफर को भी रोक दिया गया है। आज अमेरिका सबसे ज्यादा संक्रमित है 1 दिन में 917 से भी अधिक मौतें हुई हैं। भारत सरकार और अमेरिका दोनों ही अपने नागरिकों को देश से निकालने में पूरा सहयोग दे रही हैं। भारत में अमेरिका के कई लोग फंसे हुए हैं। भारत सरकार इस मिशन में अमेरिका का साथ दे रहे हैं। अमेरिका में बेरोजगारों की संख्या भी काफी अधिक बढ़ गई है। वैसे ही दुनिया वैश्विक मंदी से गुजर रही है, ऐसे में कोरोना महामारी का आना खतरनाक है। अमेरिका ने अगर देश को पहले ही लोकडाउन का फैसला ले लिया होता तो आज यह हालत नहीं होती है। राष्ट्रपति ट्रंप ने ही मास्क पहनने से मना कर दिया था, कहा कि मैं राष्ट्र अध्यक्ष और तानाशाह से मिलता हूं, इसलिए मास्क पहनना ठीक नहीं।
कोविड-19 को लेकर भारत और अमेरिका की बातचीत
कोविड-19 महामारी को लेकर शनिवार को नरेंद्र मोदी और ट्रंप के बीच बातचीत हुई है। भारत और अमेरिका दोनों ही इस बीमारी को दूर भगाना चाहते हैं। दोनों देश मिलकर इस महामारी को हराना चाहते हैं। दुनिया में विकराल रूप से फैली यह महामारी चिंता का विषय है। भारत देश में 21 दिन के लॉक डाउन उतनी नहीं बढ़ पाई है। इटली और स्पेन जैसे देश कोविड-19 महामारी से अत्यधिक प्रभावित है। अमेरिका के न्यूयॉर्क शहर में नए अस्पताल बनने के बाद भी हालात पर काबू नहीं पा सके। लगभग 204 देशों में कोरोना महामारी फैल चुकी है। अमेरिका में तो हर अस्पताल, नर्सिंग होम और घरों में मौतें हो रही हैं। मुर्दा घरों में सब रखने की भी जगह नहीं है। दुनिया में कोरोना महामारी से भयावह स्थिति बनी हुई है।