भारत के बहुत ही प्रचलित एवं मशहूर शायर राहत इंदौरी अब इस दुनिया में नहीं रहे। यह बात सुनकर आपको बहुत ही ठेस पहुंची होगी लेकिन कोरोनावायरस से संक्रमित होने के कारण इनकी बेहद दुखद मृत्यु हो गई है। आज हम इस लेख में इन से जुड़ी कुछ खास बातों पर प्रकाश डालेंगे।
इनका निधन मात्र 70 वर्ष की आयु में हो गया है। इनका जन्म मध्य प्रदेश के इंदौर शहर में 1 जनवरी सन् 1950 में हुआ था। इनकी कोरोना रिपोर्ट पॉजिटिव आने के पश्चात इन्हें इंदौर के मशहूर हॉस्पिटल अरविंदो अस्पताल में भर्ती किया गया था।
फेफड़ों में निमोनिया होने के कारण आईसीयू में रखा गया था
मृत राहत इंदौरी के बेटे और प्रचलित युवा शायद सतलज राहत ने बताया था कि “हमारे पिताजी पिछले 4 महीनों से केवल फेफड़ों में निमोनिया की जांच के लिए ही घर से हॉस्पिटल के लिए निकलते थे। इसके अलावा वह घर पर ही रहकर समय बिताया करते थे। उन्हें सांस लेने में चार-पांच दिनों से बेचैनी हो रही थी। डॉक्टर के कहने पर इनके फेफड़ों का एक्स-रे कराया गया था।
हम लोगों ने उनका कोरोना टेस्ट कराया तो पता चला कि वह कोरोना वायरस से संक्रमित है। राहत जी अपने चेकअप के अलावा चार महीने से घर पर ही थे। उनके परिवारजनों ने इसकी जानकारी दी है। राहत इंदौरी जी को कुछ दिन पहले अचानक घबराहट हुई। अस्पताल में जब उनकी जांचे हुई तो निमोनिया निकला और दिल का दौरा बताया गया। फिर उनकी कोरोना रिपोर्ट भी पॉजिटिव आई। उनके डॉक्टर ने बताया की उनके फेफड़ों में निमोनिया है।
उन्होंने ट्वीट कर लिखा था
राहत साहब का Cardiac Arrest की वजह से आज शाम 05:00 बजे इंतेक़ाल हो गया है…..
उनकी मग़फ़िरत के लिए दुआ कीजिये….
— Office of Dr. Rahat Indori (@rahatindori) August 11, 2020
दिग्गज शायर और लेखक अब हमारे बीच नहीं रहे। 11 अगस्त को राहत जी ने ट्वीट किया था कि “मेरी कोरोना रिपोर्ट पॉजिटिव आई है और मैं इंदौर के अरबिंदो अस्पताल में हूँ। दुआ करो कि में जल्दी ही इस बीमारी को हरा दूँ। एक और इल्तेजा है, कि मुझे और मेरे घरवालो को फोन मत करना मेरी खैरियत की जानकारी आपको ट्वीट के द्वारा मिलती रहेगी”।
कुछ दिन पहले जब कोरोना ने इंदौर का हाल-बेहाल कर दिया था तो राहत इंदौरी जी ने ट्वीट कर कहा था कि कोरोना से पीड़ित मरीजों को आर्थिक सहायता प्रदान की जाए तथा गरीबों का भी पूरा ध्यान रखा जाए। आइसोलेशन के लिए अलग से कमरे तैयार किए जाएं और यदि इंदौर के अस्पताल में जगह कम हो तो इंदौर में स्थित उनके घर में आइसोलेशन की व्यवस्था की जाए। यह कहकर उन्होंने सारे जगत का दिल जीत लिया था। इतने बड़े दिल के राहत इंदौरी जी हमारे बीच नहीं रहे हैं। यह पूरे साहित्य जगत में ही नहीं बल्कि पूरे देश में बड़े ही शोक की लहर आ पड़ी है।
राहत जी ने शायरी के अलावा लिखे कई मशहूर गाने
बीते 40 से 45 सालों से मुशायरों में शिरकत करने वाले राहत इंदौरी ने अपने जीवन का एक बड़ा हिस्सा इंदौर में बताया है। शायरी पढ़ने का अंदाज सबसे जुदा था। शायरी के अलावा इन्होंने कई हिंदी फिल्मों के गानों को भी लिखा – जैसे सर, जानम, खुद्दार, मुन्नाभाई एमबीबीएस, मर्डर, मिशन कश्मीर, करीब, इश्क, घातक इनमें से प्रमुख हैं।
इनकी किताबें
राहत जी ने रुत, मेरे बाद, धूप बहुत है, मौजूद, नाराज जैसी मशहूर किताबें भी लिखी।