आज पूरी मानव जाति ने पर्यावरण को कितना नुकसान पहुंचाया है इस बात का अंदाजा लगा पाना भी मुश्किल हो गया है। हम लोग अक्सर जाने अंजाने कितने ही ऐसे काम करते हैं जिसकी वजह से पर्यावरण प्रदूषित हो रहा है। बीते लंबे समय से यह मुहिम काफी तेज हो गई है जिसमें पर्यावरण को बचाने की तरकीबे बताई जा रही हैं। लेकिन उसके बावजूद भी पर्यावरण सुधार के आसार कम ही दिखाई दे रहे हैं और उसका सबसे बड़ा कारण यह है कि हम सब मिलकर इस पर काम नहीं कर रहे हैं। इसलिए आज हम आपके सामने कुछ ऐसे तथ्य लाए हैं जिन्हे जानने के बाद आप भी थोड़ा घबरा जाएंगे और शायद तभी आप भी पर्यावरण बचाने के लिए आगे आएं।
पर्यावरण को बचाना है तो इन समस्याओ का निकालना होगा हल
- पानी हमारी जिंदगी के लिए सबसे महत्वपूर्ण है लेकिन बावजूद इसके हम पानी को वेस्ट तो कर ही रहे हैं साथ ही हम इसे प्रदूषित भी कर रहे हैं। इसका सबूत आया है सीधा सेंटर फॉर साइंस एंड एनवायरमेंट की तरफ से। इस संस्था ने भारत की गंगा और यमुना नदी को दुनिया की सबसे प्रदूषित नदियों मे शुमार किया है।
- अब तक ऐसी कई रिपोर्ट हैं जो भारत को प्रदूषण का केंद्र मान चुकी है। हाल ही में आई एक रिपोर्ट में दुनिया के 20 सबसे प्रदूषित शहरों में 13 शहर भारत के ही बताए गए हैं।
- कागज हमारे लिए एक अमूल्य भेंट है, लेकिन क्या आप जानते हैं कि अगर एक टन कागज को रिसाइकल किया जाए तो उससे 20 पेड़ो और 7000 गेलन पानी को बचाया जा सकता है। इतना ही नहीं इससे जितनी बिजली बचाई जाएगी उससे किसी भी घर को 6 महीने तक रोशन किया जा सकता है।
- आपको जानकर शायद काफी हैरानी हो कि जंक मेल इंडस्ट्री हर साल करीब 100 मिलियन पेड़ो को काटती है। आपके आस पास पड़े इस्तिहार तो आपने देखे ही होंगे हम उन्ही की बात कर रहे हैं।
- अगर हम ई-फाइलिंग के जरिए ही काम होना शुरू हो जाए तो हम लगभग हर साल 1.4 ट्रिलियन पाउंड पेपर और 72800 पेड़ कटने से बचा सकते हैं और पर्यावरण को बचाने में एक अहम भूमिका निभा सकते हैं।
- हमारे टॉयलेट में इस्तेमाल होने वाला पेपर की चलते हर साल करीब 27000 पेड़ काटे जाते हैं।
- क्या आप जानते हैं कि कागज को केवल 6 ही बार रिसाइकल किया जा सकता है इसके बाद कागज का फाइबर कमजोर हो जाता है।
- करने का चलन बहुत ज्यादा हो गया है और यह रेस्टोरेंट खाना भेजने के लिए प्लास्टिक का इस्तेमाल करते हैं। लेकिन अगर हम घर पर ही खाना बनाना शुरू कर दें तो हम 260 प्रजातियों की जान बचा सकते हैं।
- हर रोज आमतौर पर घरो में काफी खाना बर्बाद किया जाता है, एक रिपोर्ट की माने तो हर साल पूरी दुनिया में 1.3 टन खाना बेकार होता है। जबकि दुनिया की आबादी का एक बड़ा हिस्सा जो करीब एक-एक अरब है वह कुपोषित और भूखा ही सोता है
- भारत में हर साल प्रदूषण के चलते लगभग 2 लाख करोड़ रुपए का नुकसान हो जाता है।
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